लिवर के पसंदीदा 9 आहार – खाईये और स्वस्थ रहिये

जैसे आपको कुछ चीज़े अधिक पसंद होती हैं और कुछ कम, वही फितरत हमारे लिवर की भी होती है.

फर्क बस इतना है कि हमें स्वादिष्ट, मीठे, गरिष्ट पकवान खाने की चाह रहती है और लिवर को कुछ और.

जानिए क्या हैं लिवर के पसंदीदा 9 आहार.

मानव पाचन तंत्र में लिवर एक म‍हत्‍वपूर्ण हिस्‍सा है.

भोजन चयापचय, ऊर्जाभंडारण, विषाक्त पदार्थों को बाहर निकलना, डिटॉक्सीफिकेशन, प्रतिरक्षा प्रणाली का समर्थन और रसायनों का उत्‍पादन इत्यादि सभी, लिवर के कार्यकलाप हैं.

हमें भी लिवर की उतनी ही देखभाल करनी चाहिए जितनी कि यह हमारी करता है.

हमें  लिवर कमजोरी के लक्षणों को भी कभी अनदेखा नहीं करना चाहिए.

लिवर के पसंदीदा 9 आहार

यह आहार हमारे लीवर को प्रिय हैं और इनसे लीवर हमेशा तंदुरुस्त बना रहता है.

यदि आप इनमें से कुछेक को भी उपयोग करते रहेंगे तो आप लिवर को मजबूत और बीमारियों से दूर रख सकते हैं.

यही नहीं, ये लिवर रोगों में बेहद कारगर भी होते हैं.

1 भूमि आंवला

यह एक खरपतवार है जो हर जगह पनप जाता है.  भूमि आंवला (Phylanthus amarus) लिवर के लिए बहुत उपयोगी औषधि है.

इसका पौधा मिनी आंवला के पेड़ जैसा दिखता है, जो एक से दो फुट तक बड़ा होता है.

पत्तियां आंवले जैसी होती है.

इन्ही पत्तियों के नीचे की ओर छोटे छोटे फूल आते है जो बाद में छोटे छोटे आंवलों में बदल जाते है.

इसे भुई आंवला और भू- धात्री भी कहा जाता है.

इसका जड़समेत सम्पूर्ण पौधा (जिसे पंचांग कहते हैं) उपयोग में लिया जाता है.

लिवर बढ़ गया है या या उसमे सूजन है तो यह पौधा उसे बिलकुल ठीक कर देगा.

बिलीरुबिन बढ़ गया है, पीलिया हो गया है तो इसके पूरे पौधे को जड़ों समेत उखाडकर, उसका काढ़ा सुबह शाम लें .

100 ग्राम सूखे हुए पंचांग से तीन लिटर काढ़ा बन जाता है.

इसके 30ml सवेरे शाम लेने से बढ़ा हुआ बिलीरुबिन ठीक होगा और पीलिया की बीमारी से मुक्ति मिलेगी.

2 हल्दी

लिवर के स्‍वास्‍थ्‍य में सुधार के लिए हल्‍दी अत्‍यंत उपयोगी होती है.

इसमें उपलब्ध curcumin में एंटीसेप्टिक गुण मौजूद रहते हैं और ये एंटीऑक्सीडेंट के रूप में भी कार्य करती है.

हल्दी के उपयोग से पीलिया, फैटी लिवर में आशातीत लाभ मिलता है.

लिवर को पसंद हैं ये 9 आहार

हल्दी की रोगनिरोधन क्षमता हैपेटाइटिस बी व सी का कारण बननेवाले वायरस को बढ़ने से रोकती है.

इसलिए हल्‍दी को अपने खाने में शामिल करें या रात को सोने से पहले एक गिलास दूध में थोड़ी सी हल्दी मिलाकर पिएं.

आम्बिया हल्दी जो हल्दी की एक अन्य किस्म होती है, अधिक असरकारी रहती है.

3 सेव का सिरका

लिवर में मौजूद विषैले पदार्थों को बाहर निकालने में सेव का सिरका अथवा apple cider vinegar एक उपयोगी औषधि है.

भोजन से पहले सेब के सिरके को पीने से शरीर की चर्बी भी घटती है.
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सेब के सिरके को आप कई तरीके से इस्‍तेमाल कर सकते हैं.

एक गिलास में एक बड़ा चम्मच सेब का सिरका मिलाएं और पानी से भर लें.

इस में एक चम्मच शहद भी मिला सकते हैं. इसको दिन में दो से तीन बार लें.

सेव के सिरके को सलाद इत्यादि में डाल कर भी उपयोग किया जाता है.

4 आंवला

आंवला एक बहुउपयोगी रसायन है.

यह विटामिन सी के सबसे संपन्न स्रोतों में से एक है.

इसका सेवन लिवर की कार्यशीलता को बनाये रखने में मदद करता है.

अध्ययनों में साबित हुआ है कि आंवला में लिवर को सुरक्षित रखने वाले सभी तत्व उपलब्ध रहते हैं.

लिवर के स्‍वास्‍थ्‍य के लिए आपको दिन में 4-5 आंवले खाने चाहिए.

लिवर को पसंद हैं ये 9 आहार

कुछ जन आपको कच्चे आंवले खाने की सलाह देंगे.

लेकिन इस बात में कुछ भी सच्चाई सही नहीं.

उलटे, यदि आंवला सुखा कर उपयोग किया जाये तो उसमें gallic एसिड और tanic एसिड की मात्रा बढ़ जाती है

और आंवला अधिक लाभकारी बन जाता है.

देखिये इस लिंक को.

5 पुनर्नवा

लिवर के लिए टॉनिक समझे जाने वाले आहारों और वनस्पतियों में पुनर्नवा एक विशेष औषधीय वनस्पति है.

पुनर्नवा का मुख्य औषधीय घटक एक एल्केलायड है, जिसे पुनर्नवाइन (Punarnavine) कहा जाता है।

इसकी मात्रा जड़ में लगभग 0.04 प्रतिशत होती है। अन्य एल्केलायड्स की मात्रा लगभग 6.5 प्रतिशत होती है।

पुनर्नवा punrnava ke aushdhiy gun upyog fayde labh

पुनर्नवा लिवर के लिए तो संजीवनी मानी ही जाती है साथ ही पेट, जोड़ों इत्यादि की सूजन (Inflamation), पांडुरोग (Anemia), ह्रदयरोग, पथरी (Kidney, urinary stone), खांसी, डायबिटीज, उर:क्षत(सीने, फेफड़ों के घाव) आर्थराइटिस और पीड़ा  (Pain) के लिये  भी अति लाभकारी रहती है।

6 पपीता

लिवर की बीमारियों के प्राकृतिक उपचार के लिए पपीता सबसे सुरक्षित और कारगर विकल्प है.

विशेष रूप से लिवर सिरोसिसके लिए.

हर रोज दो चम्मच पपीता के रस में आधा चम्मच नींबू का रस मिलाकर पिएं.

लिवर को पसंद हैं ये 9 आहार

इस बीमारी से पूरी तरह निजात पाने के लिए पपीते का सेवन तीन से चार महीने के लिए करें.

पपीता में उपलब्ध पेक्टिन पाचन तंत्र में उपस्थित विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने का काम भी करता है.

7 मुलेठी

लिवर की बीमारियों के इलाज के लिए मुलेठी का इस्‍तेमाल कई आयुर्वेदिक औषधियों में किया जाता है.

मुलेठी का पाउडर बनाकर इसे पानी में 10-15 मिनट तक उबाल लें. फिर ठंड़ा होने पर छान लें.

इस काढ़े की 30 से 50ml मात्रा को दिन में एक या दो बार पिएं.

याद रखें यदि आप high BP से पीड़ित हैं मुलेठी का उपयोग न करें. ये BP के लिये लाभकारी औषधि नहीं है.

8 पालक गाजर इत्यादि हरी सब्जियां

पालक और गाजर का रस का मिश्रण लिवर सिरोसिस के लिए काफी लाभदायक घरेलू उपाय है.

पालक का रस और गाजर के रस को बराबर भाग में मिलाकर पिएं.

लिवर की मरम्मत के लिए इस प्राकृतिक रस को रोजाना कम से कम एक बार जरूर पिएं.

इसके अतिरिक्त, अन्य हरी सब्जियां भी पित्त के प्रवाह को बढ़ाती हैं.

9 अखरोट

अपने आहार में अखरोट को शामिल कर आप लिवर की बीमारियों के आक्रमण से बच सकते हैं.

अखरोट में उपलब्ध ग्लुटथायन, लिवर के विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालकर इसकी सफाई करता है.

यदि आप नित्य अखरोट का सेवन करते हैं तो आप लिवर कमजोरी से भी बचे रह सकते हैं.

लिवर के पसंदीदा 9 आहार – सारशब्द

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